Dry day in delhi : दिल्ली सरकार ने छठ पूजा के अवसर पर 19 नवंबर (रविवार) को शुष्क दिवस घोषित किया है। क्यों की इस साल 17 नवंबर से 20 नवंबर तक चार दिवसीय छठ पूजा मनाई जा रही है। एक आदेश में, दिल्ली सरकार के उत्पाद शुल्क आयुक्त ने कहा, “दिल्ली उत्पाद शुल्क नियम, 2010 के नियम 52 के प्रावधानों के अनुसार, यह आदेश दिया जाता है कि निम्नलिखित 19 नवंबर को राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र में “शुष्क दिवस” के रूप में मनाया जाएगा।
दिल्ली में बड़ी संख्या में उत्तर प्रदेश, बिहार और झरखंड के लोग रहते है और पूर्वाचल के लोग राजस्थान में छठ पूजा धूमधाम से मानते है और इसके लिए राजधानी में हजारो जगह पर छठ घाट बनाये गए है छठ दिल्ली में बसे पूर्वाचल – पूर्वी उत्तर प्रदेश और बिहार के मूल निवासियों द्वारा सूर्य की पूजा के लिए मनाया जाने वाला एक मुख्य त्योहार है। इससे पहले भी दिल्ली सरकार के आबकारी विभाग ने पिछले महीने अक्टूबर से दिसंबर तक 6 ड्राई डे घोषित किए थे। अधिकारियों ने बताया था कि चार सरकारी निगमों की ओर से संचालित शहर की 637 खुदरा दुकानें 2 अक्टूबर (गांधी जयंती), 24 अक्टूबर (दशहरा), 28 अक्टूबर (वाल्मीकि जयंती), 12 नवंबर (दीपावली), 27 नवंबर (गुरु नानक जयंती) और 25 दिसंबर (क्रिसमस) को बंद की गयी थी । अब पब, रेस्तरां और भोजनालय रविवार को शराब नहीं परोस पाएंगे, जो भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच आईसीसी पुरुष क्रिकेट विश्व कप फाइनल मैच का दिन है। दिल्ली सरकार ने छठ पूजा के अवसर पर 19 नवंबर को “शुष्क दिवस” घोषित किया है।
Dry day in delhi : दिल्ली में शराब पीने वालों को होगी दिक्कत
गौरतलब है कि 19 नवंबर को ही भारत और आस्ट्रेलिया के बीच क्रिकेट विश्वकप का फाइनल मैच है। ऐसे में शराब का सेवन करने वालों को एक दिन पहले ही अपना इंतजाम करके रखना होगा, अन्यथा उन्हें 19 नवंबर को परेशानी हो सकती है।
Dry day in delhi : पिछले साल भी बंद थीं दुकानें
पिछली बार छठ महापर्व पर यमुना नदी की सफाई को लेकर भाजपा और आम आदमी पार्टी में जारी सियासी घमासान शुरू हाे गया था। इसी बीच उपराज्यपाल वी के ने सक्सेना ने 30 अक्टूबर 2022 को राष्ट्रीय राजधानी में ड्राइ डे घोषित कर दिया था।
जाने छठ महापर्व के बारे में
पूरे साल बेसब्री से इंतजार किया जाने वाला महापर्व छठ आज यानि 17 नवंबर से शुरू हो गया है। इसका पूर्ण समापन 20 नवंबर को होगा। छठ पूजा चार दिनों तक लगातार चलती है, पहला दिन नहाय-खाय परंपरा के साथ समाप्त होता है, दूसरा दिन खरना परंपरा के साथ समाप्त होता है, तीसरा दिन संध्या अर्घ्य के साथ समाप्त होता है और चौथा दिन उषा अर्घ्य के साथ समाप्त होता है। यह हिंदू कैलेंडर विक्रम संवत में कार्तिक के चंद्र महीने के छठे दिन और दीपावली के छह दिन बाद मनाया जाता है छठ महापर्व सूर्योपासना करने का सबसे बड़ा पर्व है। इस पर्व पर छठी माई और भगवान सूर्य की विधिपूर्वक पूजा की जाती है। यह सबसे कठिन व्रतों में से एक माना जाता है। इस त्योहार में आस्था रखने वाले लोग साल भर इसका इंतजार करते हैं। धार्मिक मान्यता है कि छठ व्रत संतान प्राप्ति, उसके कल्याण, सुख-समृद्धि और लंबी आयु की कामना से किया जाता है। रामायण और महाभारत के काल से चले आ रहे लोक आस्था के महापर्व छठ को अब तो ग्लोबल पहचान मिल चुकी है । इस पर्व को मनाने वाले लोग दुनिया के जिस भी कोने में रहते हैं। इस महापर्व को वहां बड़ी धूमधाम से मनाते हैं छठ पूजा (Chhath Puja) एक अत्यंत प्राचीन हिंदू त्योहार है। बिहार (Bihar), उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) और झारखंड (Jharkhand) और नेपाल (Nepal) के दक्षिणी भागों में छठ पूजा विशेष रूप से मनाई जाती है (Chhath Puja in India). विदेशों में बसे भारतीय भी छठ पूजा बड़े ही धूमधाम से मनाते हैं (Chhath Puja in Foreign Countries).