Police Commemoration Day : पुलिस के अमर शहीदों की याद में 21 अक्टूबर को प्रातः 8 बजे राजस्थान पुलिस अकादमी स्थित शहीद स्मारक पर महानिदेशक पुलिस श्री उमेश मिश्रा श्रद्धांजलि अर्पित करेंगे। कर्तव्य निर्वहन के दौरान राष्ट्र के लिए शहीद हुए पुलिस अधिकारियों और जवानों की याद में रविवार को पुलिस शहीद दिवस मनाया जाएगा। इस अवसर पर पुलिस लाइन में सुबह 8 बजे शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित कर उनके सम्मान में दो मिनट का मौन रखा जाएगा। एसपी राहुल प्रकाश शाेक परेड के बाद होने वाली श्रद्धांजलि सभा में इस वर्ष शहीद हुए पुलिसकर्मियों के नाम पढ़कर सुनाएंगे। इस मौके पर पुलिस लाइन में बने शहीद स्मारक पर पुष्प चढ़ाने के बाद शहीदों को शस्त्र उल्टे कर सलामी दी जाएगी। इस दौरान अधिकारी समेत जवान रक्तदान करेंगे।Police Commemoration Day के दिन देश के सुरक्षा बल, चाहे वो राज्य पुलिस हो, केंद्रीय सुरक्षा बल हो या फिर अर्धसैनिक बल हो, सभी एक साथ मिलकर इस दिन को मनाते हैं।इस अवसर पर रक्तदान शिविर का भी होगा आयोजन किया जाएगा ।
अतिरिक्त महानिदेशक पुलिस एवं आरपीए निदेशक श्री पी रामजी ने बताया कि गार्ड ऑफ़ आनर पुलिस आयुक्तालय जयपुर एवं चौथी व पांचवी बटालियन आरएसी की टुकड़ी द्वारा दिया जायेगा। महानिदेशक पुलिस द्वारा 1 सितम्बर 2022 से 31 अगस्त 2023 तक शहीद हुए पुलिसकर्मियों के नाम का स्मरण किये जाने के बाद ’’लास्ट पोस्ट’’ की धुन बजाई जा रही है । इस अवसर पर एक सेवानिवृत राजपत्रित एवं एक अराजपत्रित पुलिस अधिकारी सहित वरिष्ठ पुलिस अधिकारी शहीद स्मारक पर पुष्पचक्र अर्पित करेंगे। अतिरिक्त महानिदेशक कानून व्यवस्था श्री आनन्द श्रीवास्तव ने बताया कि पुलिस शहीद दिवस परेड प्रदेश के प्रत्येक जिला मुख्यालय सहित आरएसी, प्रशिक्षण केन्द्रों, जोन कार्यालयों एवं रेंज स्तर पर भी आयोजित कर शहीद पुलिसकर्मियों को श्रद्धांजलि दी जाएगी। इस अवसर पर शहीदों की याद में स्वैच्छिक रक्तदान, वृ़क्षारोपण एवं स्वच्छ भारत अभियान के तहत कार्यक्रम आयोजित किये जायेंगे। प्रदेश की सभी पुलिस लाईन एवं जिलों के अन्य प्रतिष्ठित स्थलों पर ड्यूटी के दौरान शहीद हुए पुलिसकर्मियों के नाम प्रदर्शित किये जायेंगे।
Police Commemoration Day का सीधा प्रसारण
नेशनल पुलिस मेमोरियल नई दिल्ली पर आयोजित होने वाले Police Commemoration Day का प्रातः 8 बजे से डीडी न्यूज से सीधा प्रसारण किया जाएगा तथा यह प्रसारण वेबकास्ट लिंक से ओपन किया जा सकता है http://URL-https://webcast.gov.in/mha/ib par
इस दिन को पुलिस-अर्धसैनिक बलों से जुड़े तमाम लोग पुलिस शहीदी दिवस या फिर पुलिस परेड डे के नाम से भी जानते हैं। 21 अक्टूबर को भारत में हर साल Police Commemoration Day इसलिए मनाया जाता है क्योंकि इसी दिन 21 अक्टूबर सन् 1959 में लद्दाख के हॉट स्प्रिंग में सीमा की सुरक्षा में तैनात सीआरपीएफ के जांबाज सैनिकों के एक छोटे से गश्ती दल पर चीनी सेना द्वारा भारी संख्या में घात लगाकर हमला किया गया था। लेकिन हमारे जवानों ने बहादुरी से चीनी सैनिकों का सामना किया और शहीद हो गए। इस हमले में हमारे 10 केरिपुबल के रण बांकुरो ने सर्वोच्च बलिदान दिया था। उन्ही की याद में हर साल पुलिस स्मृति दिवस 21 अक्टूबर को मनाया जाता है। Police Commemoration Day के दिन देश के सुरक्षा बल, चाहे वो राज्य पुलिस हो, केंद्रीय सुरक्षा बल हो या फिर अर्धसैनिक बल हो, सभी एक साथ मिलकर इस दिन को मनाते हैं।
जानिए Police Commemoration Day का इतिहास
भारत के तिब्बत में 2,500 मील लंबी चीन के साथ सीमा है। 21 अक्टूबर 1959 के वक्त इस सीमा की सुरक्षा की जिम्मेदारी भारत के पुलिसकर्मियों की थी। चीन के घात लगाकर हमला करने से ठीक एक दिन पहले 20 अक्टूबर 1959 को भारत ने तीसरी बटालियन की एक कंपनी को उत्तर पूर्वी लद्दाख में हॉट स्प्रिंग्स के इलाके में तैनात किया था। इस कंपनी को तीन टुकड़ियों में बांटकर सीमा के सुरक्षा की जिम्मेदारी दी गई थी। हमेशा की तरह इस कपंनी के जवान लाइन ऑफ कंट्रोल में गश्त लगाने के लिए निकले। 20 अक्टूबर को दोपहर तक तीनों टुकड़ियों में से दो टुकड़ी के जवान दोपहर तक लौट आए। लेकिन तीसरी टुकड़ी के जवान उस दिन नहीं लौटे। उस टुकड़ी में दो पुलिस कांस्टेबल और एक पोर्टर था। 21 अक्टूबर की सुबह वापस नहीं लौटे टुकड़ी के जवानों के लिए तलाशी अभियान चलाने की योजना बनाई गई। जिसका नतृत्व तत्कालीन डीसीआईओ करम सिंह कर रहे थे। इस टुकड़ी में लगभग 20 जवान थे। करम सिंह घोड़े पर सवार हुए और बाकी जवान पैदल मार्च पर थे। पैदल चलने वाली सैनिकों को 3 अलग-अलग टुकड़ियों में बांट दिया गया था। तलाशी अभियान के दौरान ही चीन के सैनिकों ने घात लगाकर एक पहाड़ के पीछे से फायरिंग शुरू कर दी। भारत के जवान, जो अपने साथी को खोजने निकले थे, वो हमले के लिए तैयार नहीं थे। उनके पास जरूरी हथियार नहीं थे। इस हमले में 10 जवान शहीद हो गए थे और ज्यादातर जवान घायल हो गए थे, 7 की हालत गंभीर थी।लेकिन चीन यहीं नहीं रूका, चीनी सैनिकों ने गंभीर रूप से घायल जवान को बंदी बनाकर अपने साथ ले गई। बाकी अन्य जवान वहां से किसी तरह से निकलने में सफल हुए। इस घटना के बाद 13 नवंबर 1959 को शहीद हुए 10 पुलिसकर्मियों के शव को चीनी सैनिकों ने लौटा दिया था। भारतीय सेना ने उन 10 जवानों का अंतिम संस्कार हॉट स्प्रिंग्स में पूरे पुलिस सम्मान के साथ किया। इन्ही शहीदों के सम्मान में हर साल भारत में 21 अक्टूबर को Police Commemoration Day मनाया जाता है।